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NIOS Class 12 Geography Chapter 19 प्रमुख उद्योग और औद्योगिक संकुल
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प्रमुख उद्योग और औद्योगिक संकुल
Chapter: 19
| TEXTUAL QUESTION ANSWER |
पाठगत प्रश्न 19.1
1. द्वितीयक क्षेत्र के अंतर्गत किन गतिविधियों को वर्गीकृत किया जा सकता है?
उत्तर: खनन और उत्खनन, विनिर्माण (पंजीकृत और अपंजीकृत), गैस, बिजली, निर्माण और जल आपूर्ति।
2. भारत में उद्योगों में कार्य कर रहे श्रमिक बल की प्रतिशतता कितनी है?
उत्तर: 12 प्रतिशत।
3. भारतीय अर्थव्यवस्था में उद्योग क्यों महत्वपूर्ण है? नीचे दिए विकल्पों में से सही उत्तर चुनिए।
क. क्योंकि वे बहुत बड़े हैं।
ख. क्योंकि वे सब जगह पाए जाते हैं।
ग. क्योंकि वे लोगों की बड़ी संख्या को रोजगार देते हैं, कृषि को आधुनिक बनाते हैं और लोगों की कृषि पर निर्भरता को कम करते हैं।
उत्तर: (ग) क्योंकि वे लोगों की बड़ी संख्या को रोजगार देते हैं, कृषि को आधुनिक बनाते हैं और
लोगों की कृषि पर निर्भरता को कम करते हैं।
पाठगत प्रश्न 19.2
1. कच्चा माल, बाजार, श्रम आपूर्ति, ऊर्जा का स्रोत, यातायात और संचार, सरकार की नीतियां तथा संयुक्त अर्थव्यवस्थाएं जैसे कारक किसी उद्योग की ____________ के लिए जिम्मेदार होते हैं।
उत्तर: उद्योगों की अवस्थिति।
2. यदि कच्चा माल नष्ट होने वाला हो तो आपके विचार में ऐसा उद्योग कहां अवस्थित होगा?
उत्तर: कच्चे माल के स्रोत के निकट।
3 औद्योगिक इकाईयां एक-दूसरे से लाभान्वित होती हैं _____________?
उत्तर: संयुक्त अर्थव्यवस्थाएं।
4. उद्योग लागत अधिकतम करने अथवा लाभ अधिकतम करने में से किस एक पर आधारित होते।
उत्तर: लाभ को अधिकतम करना।
पाठगत प्रश्न 19.3
1. ऐसे पांच आधार लिखिए जिनके आधार पर उद्योगों का वर्गीकरण किया जा सकता है?
उत्तर: कच्चे माल का स्रोत, स्वामित्व, कार्य, उद्योग का आकार, कच्चे माल और तैयार माल का भार (वजन)
2. सौंदर्य प्रसाधन एक _________उद्योग है।
उत्तर: उपभोक्ता वस्तु उद्योग।
3. सरकार द्वारा प्रबंधित और स्वामित्व वाले उद्योगों को __________ कहते हैं तथा किसी एक व्यक्ति अथवा समूह द्वारा संचालित एवं स्वामित्व वाले उद्योग को _________कहते हैं।
उत्तर: सार्वजनिक और निजी क्षेत्रक।
पाठगत प्रश्न 19.4
1. सूती कपड़ा उद्योग की अवस्थिति के लिए कौन से घटक उत्तरदायी हैं?
उत्तर: कच्चा माल, पूंजी, यातायात के साधन, बाजार तक पहुंच, बंदरगाहों से निकटता, सस्ते मजदूर और बिजली आपूर्ति।
2. चीनी मिलें अधिकांशतः आई क्षेत्रों में क्यों पाई जाती हैं?
उत्तर: क्योंकि गन्ने की उत्पादन नमी वाले क्षेत्रों में होता है।
पाठगत प्रश्न 19.5
1. लोहा और इस्पात उद्योग को आधारभूत उद्योग क्यों माना जाता है? निम्न विकल्पों में से सही उत्तर चुनिएः
(i) यह आधारभूत वस्तुओं का प्रयोग करता है।
(ii) यह भारत में स्थापित किया गया पहला उद्योग था।
(iii) अन्य सभी उद्योग इस पर निर्भर करते हैं तथा यह उन उद्योगों को आधार प्रदान करता है।
उत्तर: (iii) अन्य सभी उद्योग इस पर निर्भर करते हैं तथा यह उन उद्योगों को आधार प्रदान करता है।
2. भारत में लोहा और इस्पात उद्योगों का अधिकतम संकेन्द्रीकरण __________ क्षेत्र में है।
उत्तर: छोटा नागपुर क्षेत्र।
3. विश्व में इस्पात उत्पादक देशों में से भारत का स्थान ___________ है।
उत्तर: दूसरा स्थान।
पाठगत प्रश्न 19.6
1. कुछ विशेष क्षेत्रों में उद्योगों के संकेन्द्रीकरण को कहते हैं।
उत्तर: औद्योगिक परिसर।
2. अनेक औद्योगिक इकाइयों एक स्थान पर क्यों अवस्थित होती हैं?
उत्तर: उन्हें एक-दूसरे से लाभ मिलता है।
3. वर्तमान में भारत में कितने वृहद और कितने लघु औद्योगिक क्षेत्र हैं? वृहद औद्योगिक क्षेत्रों के नाम लिखिए।
उत्तर: 8 बड़े और 13 छोटे।
4. क्या आप भारत के अति महत्वपूर्ण औद्योगिक क्षेत्रों को पहचान सकते हैं? उनके नाम लिखिए।
उत्तर: मुम्बई-पुणे क्षेत्र, हुगली क्षेत्र, बैंगलुरु तमिलनाडु क्षेत्र, गुजरात क्षेत्र, छोटानागपुर क्षेत्र, विशाखापट्नम गुंटूर क्षेत्र, गुरुग्राम-दिल्ली-मेरठ क्षेत्र, कोल्लम-धिरुवनंतपुरम क्षेत्र (इनमें से कोई)
पाठगत प्रश्न 19.7
1. भारत में उद्योगों को प्रोत्साहित करने के लिए भारत सरकार ने कदम क्यों उठाए हैं? सही उत्तर चुनिएः
(i) उद्योगों के विकास के लिए।
(ii) औद्योगिक उत्पादन बढ़ाने के लिए।
(iii) (i) और (ii) दोनों।
(iv) कृषि के विकास का मुकाबला करने के लिए।
उत्तर: (iii) (i) और (ii) दोनों।
2. भारत में उद्योगों के पक्ष में पहला प्रमुख प्रयास ___________ के दौरान किया गया था।
उत्तर: द्वितीय पंच वर्षीय योजना।
3. भारत में सरकार द्वारा औद्योगिक विकास के लिए हाल ही में किए गए किन्हीं दो प्रमुख पहलों के नाम लिखिए।
उत्तर: कौशल भारत अभियान, प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना, स्टार्टअप इंडिया (कोई दो)
4. कुशल भारत कार्यक्रम प्रारंभ करने के पीछे क्या विचार है।
उत्तर: 2022 तक भारत में 40 करोड़ लोगों को विभिन्न कौशलों में प्रशिक्षित करना।
| पाठांत प्रश्न |
1. यदि कृषि और सम्बन्धित गतिविधियों को प्राथमिक क्षेत्रक के अंतर्गत वर्गीकृत किया जाता है तो द्वितीयक क्षेत्रक के अंतर्गत किन गतिविधियों को वर्गीकृत किया जाता है?
उत्तर: यदि कृषि और संबंधित गतिविधियों को प्राथमिक क्षेत्रक में वर्गीकृत किया जाता है, तो विनिर्माण और उद्योग को द्वितीयक क्षेत्रक में वर्गीकृत किया जाता है। द्वितीयक क्षेत्रक में, कच्चे माल को तैयार माल में बदल दिया जाता है, जैसे कि कारखानों में वस्तुओं का उत्पादन।
द्वितीयक क्षेत्रक में शामिल गतिविधियाँ:
(i) विनिर्माण: कारखानों में वस्तुओं का उत्पादन, जैसे कपड़े, मशीनरी, आदि।
(ii) उद्योग: निर्माण, बिजली, गैस और पानी की आपूर्ति, आदि।
(iii) खनन और उत्खनन: खनिजों और अन्य प्राकृतिक संसाधनों को निकालना।
(iv) निर्माण: भवन, सड़कें, पुल आदि का निर्माण।
प्राथमिक क्षेत्रक प्राकृतिक संसाधनों का उपयोग करके कच्चे माल का उत्पादन करता है, जबकि द्वितीयक क्षेत्रक इन कच्चे माल को तैयार माल में बदलता है।
2. भारत की अर्थव्यवस्था में उद्योग किस प्रकार योगदान देते हैं?
उत्तर: भारत की अर्थव्यवस्था में उद्योग, उत्पादन, रोजगार सृजन, निर्यात और सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में वृद्धि करके महत्वपूर्ण योगदान देते हैं।
उद्योगों का योगदान:
(i) उत्पादन: उद्योग वस्तुओं और सेवाओं का उत्पादन करते हैं, जो देश की आर्थिक वृद्धि में योगदान करते हैं।
(ii) रोजगार सृजन: उद्योग बड़ी संख्या में लोगों को रोजगार प्रदान करते हैं, जिससे बेरोजगारी कम होती है।
(iii) निर्यात: भारतीय उद्योग निर्यात के माध्यम से विदेशी मुद्रा अर्जित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
(iv) सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी): औद्योगिक उत्पादन सकल घरेलू उत्पाद में वृद्धि करता है, जो देश की आर्थिक प्रगति का एक महत्वपूर्ण संकेतक है।
(v) व्यापार घाटे को कम करना: उद्योगों के विकास से व्यापार घाटे को कम करने और भुगतान संतुलन को बेहतर बनाने में मदद मिलती है।
(vi) आधारभूत संरचना का विकास: उद्योगों के विकास से आधारभूत संरचना, जैसे कि परिवहन, ऊर्जा और संचार का विकास होता है, जो समग्र आर्थिक विकास के लिए आवश्यक है।
(vii) तकनीकी प्रगति: उद्योगों में अनुसंधान और विकास (आरएंडडी) गतिविधियों को बढ़ावा मिलता है, जिससे तकनीकी प्रगति होती है और देश की प्रतिस्पर्धात्मकता बढ़ती है।
(viii) लघु और मध्यम उद्यम: क्षेत्र, जो भारत में उद्योगों का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, रोजगार सृजन, निर्यात और आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान देता है।
3. निम्नलिखित का सही मिलान कीजिए-
| उद्योग का नाम | उद्योग का प्रकार |
| एल्यूमिनियम | कृषि आधारित उद्योग |
| अमूल डेयरी उद्योग | उपभोक्ता उद्योग |
| चीनी उद्योग | लघु उद्योग |
| साबुन उद्योग | लघु उद्योग |
| पापड़ बनाने का उद्योग। | खनिज आधारित भारी उद्योग |
उत्तर:
| उद्योग का नाम | सही उद्योग का प्रकार |
| एल्यूमिनियम | खनिज आधारित भारी उद्योग |
| अमूल डेयरी उद्योग | उपभोक्ता उद्योग |
| चीनी उद्योग | कृषि आधारित उद्योग |
| साबुन उद्योग | लघु उद्योग |
| पापड़ बनाने का उद्योग | लघु उद्योग |
4. मोबाइल बनाने के उद्योग को किस प्रकार के उद्योग में वर्गीकृत किया जा सकता है? इस उद्योग के क्या विशेषताएं/लक्षण हैं?
उत्तर: मोबाइल बनाने का उद्योग विनिर्माण उद्योग के अंतर्गत आता है। यह उद्योग उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक्स का हिस्सा है, जो विभिन्न प्रकार के मोबाइल फोन, स्मार्टफोन, और संबंधित उपकरणों का उत्पादन करता है। इस उद्योग की प्रमुख विशेषताएं हैं: उच्च तकनीकी नवाचार, तीव्र विकास, वैश्विक प्रतिस्पर्धा, और तेजी से बदलती उपभोक्ता मांग।
मोबाइल उद्योग की विशेषताएं/लक्षण:
(i) उच्च तकनीकी नवाचार: मोबाइल उद्योग लगातार नए तकनीकी विकासों को अपनाता है, जैसे कि 5G, फोल्डेबल स्क्रीन, उन्नत कैमरा तकनीक, और कृत्रिम बुद्धिमत्ता।
(ii) वैश्विक प्रतिस्पर्धा: यह उद्योग अत्यधिक प्रतिस्पर्धी है, जिसमें कई घरेलू और अंतरराष्ट्रीय कंपनियां भाग लेती हैं, जिससे कीमतों और गुणवत्ता में लगातार सुधार होता है।
(iii) तेजी से बदलती उपभोक्ता मांग: उपभोक्ताओं की प्राथमिकताएं और जरूरतें तेजी से बदलती हैं, जिसके कारण कंपनियों को नए और बेहतर उत्पादों को लगातार विकसित करना पड़ता है।
(iv) विशाल वैश्विक बाजार: मोबाइल फोन एक वैश्विक उत्पाद है, जिसका मतलब है। कि इसका बाजार बहुत बड़ा है और दुनिया भर के लोग इसका उपयोग करते हैं।
5. भारत के कुछ क्षेत्रों में उद्योगों का संकेन्द्रीकरण है। इस प्रतिरूप के पीछे के कारणों की पहचान कीजिए।
उत्तर: भारत में उद्योगों का संकेन्द्रीकरण कुछ क्षेत्रों में होने के पीछे कई कारण हैं:
(i) कच्चे माल की उपलब्धता: उद्योग अक्सर उन क्षेत्रों में केंद्रित होते हैं जहाँ कच्चे माल आसानी से उपलब्ध होते हैं।
(ii) बाजार की निकटता: उद्योग उन क्षेत्रों में केंद्रित होते हैं जहाँ बाजार की निकटता होती है, जिससे उत्पादों की बिक्री और वितरण आसान होता है।
(iii) श्रम की उपलब्धता: उद्योग उन क्षेत्रों में केंद्रित होते हैं जहाँ श्रमिकों की उपलब्धता अधिक होती है।
(iv) बुनियादी ढांचे की उपलब्धता: उद्योग उन क्षेत्रों में केंद्रित होते हैं जहाँ बुनियादी ढांचे जैसे कि सड़कें, रेलवे, बंदरगाह आदि अच्छी तरह से विकसित होते हैं।
(v) सरकारी नीतियाँ और प्रोत्साहन: सरकारें अक्सर कुछ क्षेत्रों में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए नीतियाँ और प्रोत्साहन प्रदान करती हैं।
6. कुछ विशिष्ट उद्योगों की अवस्थिति के लिए कुछ विशेष घटक जिम्मेदार होते हैं। ये क्या हैं? अपने उत्तर के पक्ष में उदाहरण दीजिए।
उत्तर: किसी विशिष्ट उद्योग की अवस्थिति के लिए कई घटक जिम्मेदार होते हैं, जिनमें कच्चे माल की उपलब्धता, परिवहन सुविधाएं, श्रम शक्ति, बाजार, ऊर्जा, पूंजी और सरकारी नीतियां शामिल हैं।
(i) कच्चे माल की उपलब्धता: कुछ उद्योगों को कच्चे माल की आवश्यकता होती है, जो किसी विशेष क्षेत्र में आसानी से उपलब्ध होते हैं। उदाहरण के लिए, लौह और इस्पात उद्योग के लिए कोयला और लौह अयस्क महत्वपूर्ण कच्चे माल हैं, इसलिए यह उद्योग आमतौर पर कोयला क्षेत्रों या लौह अयस्क खदानों के पास स्थित होता है।
(ii) परिवहन: परिवहन उद्योग के लिए एक महत्वपूर्ण कारक है, क्योंकि यह कच्चे माल को कारखाने तक और तैयार उत्पादों को बाजार तक ले जाने में मदद करता है। उदाहरण के लिए, जलमार्ग, सड़क और रेलवे के चौराहे औद्योगिक गतिविधियों के केंद्र बन जाते हैं।
(iii) श्रम: श्रम शक्ति भी एक महत्वपूर्ण कारक है। उद्योगों को कुशल और अकुशल दोनों प्रकार के श्रमिकों की आवश्यकता होती है। उदाहरण के लिए, मुंबई, कोलकाता, दिल्ली और चेन्नई जैसे बड़े औद्योगिक केंद्र इसलिए हैं क्योंकि यहां बड़े पैमाने पर पूंजीपति और कुशल श्रमिक उपलब्ध हैं।
(iv) बाजार: तैयार माल के लिए बाजार की निकटता भी एक महत्वपूर्ण कारक है। यदि बाजार दूर है, तो परिवहन लागत बढ़ जाती है, और तैयार माल को बाजार तक पहुंचने में समय लगता है।
(v) ऊर्जा: उद्योगों को चलाने के लिए ऊर्जा की आवश्यकता होती है, जैसे कि बिजली, कोयला, या पेट्रोलियम। ऊर्जा स्रोतों की उपलब्धता भी एक महत्वपूर्ण कारक है।
(vi) पूंजी: उद्योगों को स्थापित करने और चलाने के लिए पूंजी की आवश्यकता होती है। बड़े पैमाने पर पूंजीपति अक्सर बड़े औद्योगिक केंद्रों में रहते हैं, जिससे उन क्षेत्रों में उद्योगों का विकास होता है।
(vii) सरकारी नीतियां: सरकारी नीतियां भी उद्योगों की अवस्थिति को प्रभावित करती हैं। सरकारें उद्योगों को आकर्षित करने के लिए प्रोत्साहन प्रदान कर सकती हैं, जैसे कि कर छूट या सब्सिडी।

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