Class 9 Hindi Elective Chapter 16 टूटा पहिया

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Class 9 Hindi Elective Chapter 16 टूटा पहिया

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टूटा पहिया

पाठ – 16

अभ्यासमाला

बोध एवं विचार

(अ) सही विकल्प का चयन करो:

1. रथ का टूटा पहिया स्वयं को न फेंके जाने की सलाह देता है, क्योंकि – 

(क) उसे मरम्मत करके फिर से रथ में लगाया जा सकता है।

(ख) किसी दुस्साहसी अभिमन्यु के हाथों में आकर ब्रह्मास्त्र से लोहा ले सकता है।

(ग) इतिहासों की सामूहिक गति झूठी पड़ जाने पर सच्चाई टूटे हुए पहियों का आश्रय ले सकता है।

(घ) ऊपर के ख और ग दोनों सही है।

उत्तर: (घ) ऊपर के ख और ग दोनों सही है।

2. ‘दुरूह चक्रव्यूह में अक्षौहिणों सेनाओं को चुनौती’ किसने दी थी?

(क) अभिमन्यु ने।

(ख) द्रोणाचार्य ने।

(ग) अर्जुन ने।

(घ) दुर्योधन ने।

उत्तर: (क) अभिमन्यु ने।

3. अपने पक्ष को असत्य जानते हुए भी….’ यहाँ किसके पक्ष को असत्य कहा गया है।

(क) युधिष्ठिर का।

(ख) दुर्योधन का।

(ग) अभिमन्यु का।

(प) कृष्ण का।

उत्तर: (ख) दुर्योधन का।

4 ‘ब्रहमास्वों से लोहा ले सकता हूँ’ यह किसका कथन है?

(क) भीष्म का कथन।

(ख) परशुराम का कथन।

(ग) टूटे हुए पहिए का कथन।

(घ) भीम के गदा का कथन।

उत्तर: (ग) टूटे हुए पहिए का कथन।

(आ) निम्नलिखित प्रश्नों का उत्तर दो:

1. कवि ने अभिमन्यु को दुस्साहसी क्यों बताया है?

उत्तर: अभिमन्यु समस्या को अच्छी तरह न समझकर साहसी बन जाता है। इसीलिए कवि ने अभिमन्यु को दुस्साहसी बताया है।

2. ‘दुरूह चक्रव्यूह’ का महाभारत के संदर्भ में और आज के संदर्भ में क्या तात्पर्य है?

उत्तर: दुरूह चक्रव्यूह’ यह महाभारत के जमाने के एक युद्ध कौशल था। जिसके द्वारा एक महारथी दूसरो को मरने गिराने में सफल हो जाता था। यह कौशल आज के जमाने में भी चल रहे है। एक-दूसरे मिलकर तीसरे देश या व्यक्ति को दबाने में सफल हो रहे है।

3 कवि ने किस तथ्य के आधार पर कहा कि ‘असत्य कभी सत्य को बर्दाश्त नहीं कर पाता’?

उत्तर: कवि ने महाभारत के महायुद्ध के आधार पर यह कहा कि असत्य कभी सत्य को बर्दास्त नहीं कर पाता।

4. ‘लघु से लघु और तुच्छ से तुच्छ वस्तु’ किन परिस्थितियों में अत्यधिक उपयोगी हो सकती है?

उत्तर: इस पंक्ति के अनुसार यह स्पष्ट होता है कि कवि भारती ने अभिमन्यु को दुरुह चक्रब्यूह में फसाकर न्याय पक्ष को छोड़कर अपने स्वार्थ सि‌द्धि के हेतु झूटी को सहाय लेकर लघु से लघु और तुच्छ से तुच्छ को अत्याधिक उपयोगी हो सकती है।

5. ‘इतिहास की सामूहिक गति का सहसा झूठी पड़ जाने’ का क्या आशय है?

उत्तर: दुरुह चक्रव्यूह में घिरे, अकेले और निहत्थे अभिमन्यु ने अपने रथ के टूटे पहिए से असत्य पक्ष में लड़ाई कर सकता था। लेकिन इतिहास की सामूहिक गति का सहसा झूठी पड़ जाने के कारण इसके साथ कदम नहीं रखा था।

6. कवि के अनुसार सच्चाई टूटे पहियों का आश्रय लेने को कब विवश हो सकती है?

उत्तर: कवि के अनुसार सच्चाई टूटे पहियों का आश्रय लेने को विवश हो सकती है जब अपने जीवन को खतरा बन जाते हैं, जिसके महाभारत का अभिमन्यू को विवश कर दिया था।

भाषा एवं व्याकरण ज्ञान

1. निम्नलिखित शब्दों में से प्रत्यय अलग करो:

सामूहिक, आवश्यकता, सनसनाहट, पाठक, पूजनीय, परीक्षित।

उत्तर: (i) सामूहिक = समूह + इक। 

(ii) आवश्यकता = आवश्यक + ता।

(iii) सनसनाहट = सनसन + आहत 

(iv) पाठक = पाठ + अक।

(v) पूजनीय = पूजन + ईय।

(vi) परीक्षित = परीक्षा + इत।

2. निम्नांकित शब्दों में से उपसर्ग अलग करो:

दुस्साहस, अनुदार, बदसूरत, निश्चिंत, बेकारी, अज्ञानी

उत्तर: (i) दुस्याहस = दुः + साहस। 

(ii) अनुदार = अनु + दार।

(iii) बदसूरत = बद + सूरत। 

(iv) निश्चिंत = निः + चिंत।

(v) बेकारी = बेकार + ई।

(vi) अज्ञानी = अज्ञान + ई।

योग्यता–विस्तार

1. महाभारत में वर्णित चक्रव्यूह का प्रसंग पढ़ो और कक्षा में चर्चा करो।

उत्तर: छात्र – छात्री खुद करे।

2. ‘ब्रम्हास्त्र’ क्या है? इसकी जानकारी हासिल करो और कक्षा में चर्चा करो।

उत्तर: छात्र – छात्री खुद करे।

शब्दार्थ एवं टिप्पणी
शब्दअर्थ
दुरूह
चक्रव्यूह
अक्षौहिणी
दुस्साहसी
महारथी
ब्रह्मास्त्र
इतिहासों की आश्रय ले
आश्रय
निडर
पंथ

उत्तर: 

शब्दअर्थ
दुरूहकठिन
चक्रव्यूहचक्र के आकार में सेना की स्थापना महाभारत के युद्ध में जिस दिन अभिमन्यु लड़ा था, उस दिन द्रोणाचार्य ने इसी व्यूह की रचना की थी।
अक्षौहिणीचतुरंगिनी सेना का एक विभाग (जिसमें 109350 पैदल 65610 घोड़े 21870 रथ और इतने ही हाथी शामिल होते है।
दुस्साहसीखतरे से भरे कार्य के लिए साहस करने वाला
महारथीयोद्धा
ब्रह्मास्त्रब्रम्हशक्ति से परिचालित अमोघ माना जाने वाला एक अस्त्र, महाविनाशकारी अस्त्र।
इतिहासों की आश्रय लेब्रम्हास्त्रो में ( जैसे आज के परमाणु बम) की सहायता से लड़े  गये युद्ध की व्यापक विनाश लीला के बाद इतिहास की गीत अवरुद्ध सी जान पड़े और जो भी साधारण से साधारण व्यक्ति और टूटे पहिया जैसा हथियार शेष बचे, उससे ही इतिहास को नयी गीत मिले
आश्रयआसरा, सहारा
निडरजो डरे नहीं 
पंथमार्ग

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